तिहाड़ से बाहर निकलकर केजरीवाल ने कहा, ‘जेल मुझे कमजोर नहीं कर सकती’

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  • समर्थकों का आभार जताया

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल आबकारी नीति ‘घोटाला’ मामले में सुप्रीम कोर्ट द्वारा जमानत दिए जाने के कुछ घंटे बाद शुक्रवार शाम को तिहाड़ जेल से बाहर आए। उन्होंने अपने समर्थकों का आभार जताते हुए कहा कि ‘जेल मुझे कमजोर नहीं कर सकती’। उन्होंने कहा कि मेरी ताकत और बढ़ गई है।

 

 

जेल से बाहर निकलने के बाद रोडशो के दौरान केजरीवाल ने उपस्थित कार्यकर्ताओं और समर्थकों को संबोधित करते हुए कहा कि मैं उन लोगों का शुक्रिया अदा करना चाहता हूं, जिन्होंने मेरी रिहाई के लिए प्रार्थना की। उन्होंने कहा कि मेरे खून का एक-एक कतरा देश के लिए समर्पित है, मैंने मुश्किलों का सामना किया, लेकिन भगवान ने हमेशा मेरा साथ दिया।

 

 

मेरा हौसला नहीं टूटा : केजरीवाल ने कहा कि मेरा हौसला तोड़ने के लिए उन्होंने मुझे जेल में डाला, लेकिन मेरा हौसला पहले से कहीं अधिक है, जेल मुझे कमजोर नहीं कर सकती। मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारे देश को कमजोर कर रही राष्ट्र विरोधी ताकतों के खिलाफ लड़ाई जारी रखूंगा। इससे पहले केजरीवाल जब तिहाड़ से बाहर आए तो पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान और दिल्ली के पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया समेत आम आदमी पार्टी के वरिष्ठ नेता और सैकड़ों कार्यकर्ता उनका जेल के बाहर इंतजार कर रहे थे।

 

 

 

 

 

 

जेल के ताले टूट गए : बारिश के बीच एक ट्रक के ऊपर खड़े मान, सिसोदिया और अन्य आप नेता नारे भी लगा रहे थे। इस दौरान ‘जेल के ताले टूट गए, केजरीवाल छूट गए’, ‘भ्रष्टाचार का एक ही काल, केजरीवाल, केजरीवाल’ जैसे नारे लगाए गए। केजरीवाल एक कार में तिहाड़ जेल से बाहर निकले और उनके साथ उनका सुरक्षा घेरा था।

 

 

सीबीआई ने 26 जून को आप संयोजक को गिरफ्तार किया था। उन्होंने भ्रष्टाचार के मामले में अपनी गिरफ्तारी को बरकरार रखने के दिल्ली उच्च न्यायालय के 5 अगस्त के आदेश को शीर्ष अदालत में चुनौती दी थी। शीर्ष अदालत ने 12 जुलाई को केजरीवाल को कथित दिल्ली आबकारी नीति घोटाले से जुड़े धन शोधन मामले में अंतरिम जमानत दे दी थी। उच्चतम न्यायालय ने शुक्रवार को उन्हें जमानत प्रदान की।

(एजेंसी)

AngeloGok

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